वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 23 जुलाई को देश का आम बजट पेश करने जा रही हैं। मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल के पहले बजट पर सभी की निगाहें टिकी हुई हैं। आम लोगों से लेकर कारोबारियों तक सभी को इस बजट का बेसब्री से इंतजार है। मध्यम वर्ग को लग रहा है कि इस बजट में उनके लिए कुछ राहत की खबर हो सकती है। नौकरीपेशा लोगों को उम्मीद है कि सरकार टैक्स को लेकर बड़ी छूट का ऐलान कर सकती है। यह भी माना जा रहा है कि सरकार केंद्रीय कर्मचारियों की पेंशन को लेकर भी बजट में बड़ा फैसला लेगी। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सरकार इस बजट में 50% रुपये पेंशन की गारंटी दे सकती है। विस्तार से जानेंगे कि बजट में कामकाजी लोगों, रिटायर्ड सरकारी कर्मचारियों, महिलाओं और किसानों को क्या तोहफा दिया जाएगा। आप भी जान सकते हैं कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आगामी बजट में कौन सी सात बड़ी घोषणाएं कर सकती हैं, महिलाओं और किसानों के लिए वित्त मंत्री की योजनाओं में क्या हो सकता है बजट का काउंटडाउन शुरू हो गया है। देश का बजट अगले हफ्ते मंगलवार यानी 23 जुलाई को आएगा। कहा जा रहा है कि वित्त मंत्री सीतारमण मिडिल क्लास को खुश करने के लिए कोई बड़ा ऐलान कर सकती हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक वित्त मंत्रालय आगामी बजट में मिडिल क्लास को राहत देने के लिए इनकम टैक्स छूट से जुड़े विकल्पों पर गंभीरता से विचार कर रहा है। वित्त मंत्री बजट में पहला बड़ा ऐलान देश के करोड़ों टैक्स पेयर्स को लेकर कर सकती हैं। वित्त वर्ष 2023-24 में भारत की जीडीपी यानी सकल घरेलू उत्पाद 8.2 की दर से बढ़ा है जो दुनिया के किसी भी देश की जीडीपी की रफ्तार से कहीं ज्यादा है, लेकिन चूंकि यह एक उपभोक्ता बेल्ट है, इसलिए सरकार मध्यम वर्ग पर ध्यान दे रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी संकेत दिया है कि उनकी नई सरकार का पूरा फोकस मध्यम वर्ग की बचत बढ़ाने और उनके जीवन स्तर को बेहतर बनाने पर होगा। रिपोर्ट से पता चलता है कि मध्यम वर्ग को टैक्स में राहत देने के लिए 2020 में लागू नई टैक्स व्यवस्था में कुछ बदलाव भी किए जा सकते हैं। आयकर नियमों के मुताबिक फिलहाल सालाना ₹15 लाख तक कमाने वालों को 5 से 20 फीसदी की दर से टैक्स देना होता है, जबकि ₹15 लाख से ज्यादा कमाने वालों को ₹5 से 20 फीसदी की दर से टैक्स देना होता है। कमाने वाले लोगों को 30 फीसदी की दर से आयकर देना होता है। मीडिया रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि सरकार ₹10 लाख तक की सालाना आमदनी वालों के लिए पर्सनल इनकम टैक्स की दर को कम करने पर विचार कर सकती है टैक्स व्यवस्था के तहत सालाना ₹10 लाख से ज्यादा कमाने वाले लोगों को 30 फीसदी की ऊंची दर से आयकर देना पड़ता है, इसलिए सरकार इसमें कुछ बदलाव कर सकती है। इससे पहले फरवरी में पेश किए गए अंतरिम बजट में भी सरकार ने आम आदमी को आयकर में कोई राहत नहीं दी थी। राहत नहीं दी गई थी। इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने के दो विकल्प हैं। 1 अप्रैल 2020 को एक नया विकल्प दिया गया जिसे न्यू टैक्स रिजीम कहा गया। इस नई टैक्स लैब में टैक्स फ्री इनकम का दायरा ₹2.5 लाख से बढ़ाकर ₹3 लाख कर दिया गया लेकिन इसमें टैक्स डिडक्शन को हटा दिया गया है जबकि अगर आप पुरानी टैक्स लैब चुनते हैं तो आपको कई तरह की टैक्स डिडक्शन का फायदा मिलता है। पुरानी टैक्स व्यवस्था पर आयकर अधिनियम की धारा 80C के तहत ₹1.5 लाख तक की डिडक्शन मिलती है दोनों टैक्स व्यवस्थाओं में एक और बड़ा अंतर ये है कि पुरानी व्यवस्था में सेक्शन 87A के तहत छूट के बाद 5 लाख रुपये तक की आय टैक्स फ्री होती है, जबकि नई व्यवस्था में 7.5 लाख रुपये तक की आय टैक्स फ्री हो जाती है. खबर है कि बजट में केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों के लिए बड़ा फैसला सुनने को मिल सकता है. इसके तहत नेशनल पेंशन सिस्टम यानी एनपीएस (NPS) के तहत आने वाले सभी सरकारी कर्मचारियों को उनकी आखिरी सैलरी का 50 फीसदी पेंशन मिल सकेगी. हाल ही में अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट में बताया गया था कि मोदी सरकार कर्मचारियों के लिए एनपीएस (NPS) के नियम-कायदों में बदलाव कर सकती है. केंद्रीय कर्मचारी पुरानी पेंशन स्कीम यानी ओपीएस को बहाल करने की लंबे समय से मांग कर रहे हैं. लेकिन सरकार पहले ही साफ कर चुकी है कि सरकार पुरानी पेंशन स्कीम को बहाल नहीं करेगी,